3 दिन से रेलवे ट्रैक पर बैठ किसान, जनता हो रही परेशान 

3 दिन से रेलवे ट्रैक पर बैठ किसान, जनता हो रही परेशान 

चंडीगढ़ः संयुक्त किसान मोर्चा (गैर राजनीतिक) ने हरियाणा पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए अपने तीन साथियों की रिहाई के लिए बुधवार से पटियाला जिले के शंभू स्थित रेलवे स्टेशन के रेल ट्रैक पर पक्का धरना लगा रखा है। इस कारण लुधियाना के रास्ते अंबाला और अंबाला से लुधियाना की तरफ आने वाली ट्रेनों को डायवर्ट कर चलाना पड़ रहा है और कुछ को रद करना पड़ रहा है। रूट डायवर्ट होने के कारण अधिकतर ट्रेनें अपने निर्धारित समय से देरी से चल रही हैं, जिससे यात्रियों को भारी परेशानी हो रही है। रेलवे स्टेशनों पर यात्री भी यही बात कह रहे हैं कि किसानों की नाराजगी हरियाणा और केंद्र सरकार से है तो इसके लिए वे आम जनता को क्यों परेशान कर रहे हैं। उधर, शुक्रवार को कुल 83 ट्रेनें प्रभावित हुई हैं।

इनमें से 21 ट्रेनों को जहां रद करना पड़ा वहीं, 54 को रूट डायवर्ट कर चलाया गया और आठ को शार्ट टर्मिनेट कर चलाया गया। बता दें कि किसानों ने न्यूनतम समर्थन मूल्य सहित अन्य मांगों को लेकर शंभू और संगरूर जिले के खनौरी बार्डर पर भी 13 फरवरी से नेशनल हाईवे जाम कर रखा है। 67 दिन से नेशनल हाईवे बंद होने के कारण वाहनों को भी दूसरे रास्तों से निकाला जा रहा है। लुधियाना के रेलवे स्टेशन पर बिहार के किशनगंज निवासी मोहम्मद उदास बैठा था। उसने बताया कि उसकी मां गांव में बीमार है और उसे किशनगंज जाना है। 17 अप्रैल की उसकी टिकट थी, लेकिन कर्मभूमि एक्सप्रेस कैंसल हो गई। अब दो दिन से वह स्टेशन आ रहा है, लेकिन ट्रेन नहीं मिल रही है।

घर से बार-बार फोन आ रहा है कि वह गांव जल्दी पहुंचो। अब शनिवार को आम्रपाली से कटिहार जाएगा और वहां से किशनगंज के लिए गाड़ी पकड़ने की कोशिश करेगा। वहीं इस मामले को लेकर लॉ एंड ऑर्डर के डीजीपी अर्पित शुक्ला के कहा कि किसान संगठनों के साथ बातचीत चल रही है। कोशिश की जा रही है कि वह खुद ही ट्रैक खाली कर दें। दूसरी ओर पंजाब के मुख्य चुनाव अधिकारी सिबिन सी ने कहा कि आयोग का काम चुनाव करवाना है। कानून व्यवस्था का काम देखना सरकार की जिम्मेदारी है। चुनाव में अगर कानून व्यवस्था में व्यवधान पैदा होता है तो आयोग दखल देता है। रेलवे ट्रैक पर अगर धरना चल रहा है तो यह देखना पुलिस प्रशासन का काम है।