पंजाबः Roadways, Punbus और PRTC वर्कर्स ने किया पुतला फूंक प्रदर्शन, देखें वीडियो

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फिरोजपुरः पंजाब रोडवेज पनबस/पीआरटीसी कॉन्ट्रैक्ट वर्कर्स यूनियन ने यातायात नियमों और पंजाब सरकार की घातक नीतियों के खिलाफ पूरे भारत के साथ-साथ पूरे पंजाब में गेट रैलियां कीं। फिरोजपुर डिपो के गेट पर बोलते हुए प्रदेश अध्यक्ष रेशम एस सिंह गिल ने कहा कि केंद्र सरकार ने पहले लेबर एक्ट में संशोधन के नाम पर प्राइवेट कंपनियों को लूटने की कोशिश की। उन्होंने कहा कि किसानों पर एक्ट लाकर किसानों को लूटा, अब ट्रैफिक नियम लागू करने चाहिए संशोधन के नाम पर केंद्र सरकार पूरे भारत के वाहन चालकों पर घातक कानून लागू करने की दिशा में चल पड़ी है। जिसका पूरे भारत में विरोध हो रहा है। उन्होंने कहा कि इस अधिनियम में बीएनएस की धारा 106(2) में संशोधन कर वाहन चालकों को 10 की सजा और जुर्माने का प्रावधान किया गया है।

यह पूरी तरह से वाहन चालकों पर अत्याचार है और धारा 104(2) में संशोधन किया जा रहा है अभियुक्त गवाह भारतीय संविधान के अनुच्छेद 20(3) के विरुद्ध हो सकता है। इसलिए इस एक्ट का सभी वर्ग के वाहन चालकों ने विरोध किया है और इस संशोधित एक्ट को किसी भी कीमत पर लागू नहीं होने दिया जाएगा। भारत की मोदी सरकार ने बार-बार जनविरोधी नीतियां लागू कर कॉरपोरेट घरानों को लूटने की कोशिश की है। जिसके विरोध में केंद्र सरकार के खिलाफ अर्थी फूंक प्रदर्शन किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि अगर केंद्र सरकार द्वारा यातायात नियमों में किए गए संशोधन को वापस नहीं लिया गया तो आने वाले समय में उग्र संघर्ष किया जाएगा।

वहीं डिपो प्रधान जतिंदर सिंह सचिव मुखपाल सिंह ने कहा कि केंद्र की तरह पंजाब सरकार भी कर्मचारी विरोधी नीतियों में लगी हुई है। जिसमें कच्चे कर्मचारियों को काम पर रखना, बिचौलिए ठेकेदारों को बाहर करना, समान काम-समान वेतन लागू करना आदि मुद्दे पूरे नहीं किए जा रहे हैं। जिसमें ऑफ-ड्यूटी कर्मचारियों की बहाली, वेतन वृद्धि हवाई, शर्तों में संशोधन आदि शामिल है। उन्होंने कहा कि इन्हें लागू करने के बजाय जो रोडवेज में जोड़ी गई बसों को शामिल किया गया है, कांट्रैक्ट कर्मचारियों को उन बसों को चलाने के लिए मजबूर किया जा रहा है और ओवरटाइम बंद करने का पत्र निकाला गया है। उन्होंने कहा कि ऐसे अनुबंध में कर्मचारियों के पास संघर्ष के अलावा कोई दूसरा रास्ता नहीं है। उन्होंने कहा कि वह केंद्र और राज्य सरकार की नीतियों के खिलाफ यूनियन 06/01/2024 को जालंधर में राज्य स्तरीय बैठक करेगी और तीखा संघर्ष शुरू करेगी।