पंजाबः नशे की ओवरडोज से सरकारी मुलाजिम की हुई मौत

पंजाबः नशे की ओवरडोज से सरकारी मुलाजिम की हुई मौत

मानसाः पंजाब सरकार द्वारा भले ही नशे के खिलाफ सख्ती से कार्रवाई की जा रही है, लेकिन नशे के कारण हो रही मौतों का आंकड़ा थमने का नाम नहीं ले रहा। वहीं ताजा मामला मनसा से सामने आया है। बताया जा रहा है कि सरकारी कर्मचारी की नशे की ओवरडोज़ से मौत हो गई है। मृतक अपने माता-पिता का इकलौता बेटा था। परिवार द्वारा नशे बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर मनसा में विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। पंजाब में नशे की ओवरडोज के कारण आए दिन युवाओं की मौत हो रही है। आज सरकारी विभाग में कार्यरत मानसा के युवक परविंदर सिंह (28) की नशे की ओवरडोज से मौत हो गई है। मृतक युवक का परिवार नशा विरोधी एक्शन कमेटी के सहयोग से मानसा जिला अदालत में धरना देकर नशा विक्रेताओं के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जा रही है।

मृतक युवक की बहन प्रभजोत कौर ने बताया कि उसका भाई नशे का आदी था और नशे के कारण उसने अपनी जमीन-जायदाद भी बेच दी थी और घर में नशे के लिए पैसों के लिए उससे मारपीट करता था। उन्होंने कहा कि उन्होंने इस संबंध में पुलिस को भी सूचित किया था ताकि नशा बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाए, लेकिन पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की, जिसके कारण उनके भाई की मौत हो गई।

उन्होंने बताया कि पिछले दिनों ओवरडोज के कारण उसे मानसा के सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां से रात को उसे पटियाला रेफर कर दिया गया। परिवार का आरोप है कि उसे पटियाला में अच्छा इलाज नहीं मिला। मृतक युवक की बहन ने भी अस्पताल स्टाफ पर कई सवाल उठाए है और दुर्व्यवहार का आरोप लगाया है। उन्होंने पंजाब सरकार से अपील करते हुए कहा कि नशा बेचने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाए ताकि किसी और बहन का भाई और मां का बेटा नशे के कारण न मर जाए।

एंटी ड्रग एक्शन कमेटी के सदस्य परविंदर सिंह झोटा ने कहा कि नशे के कारण मौतें हो रही हैं। जब से मानसा में नशे के खिलाफ धरना चल रहा है तब से करीब 7 युवाओं की मौत हो चुकी है। उन्होंने कहा कि आज भी मानसा में नशा बिक रहा है लेकिन पुलिस प्रशासन की ओर से इसके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। उन्होंने कहा कि मृतक युवक का शव सिविल अस्पताल में रखा गया है और जब तक प्रशासन परिवार की मांगें नहीं मान लेता, तब तक मृतक का अंतिम संसकार नहीं किया जाएगा।