जालंधरः रेलवे स्टेशन पर कर्मी को लगा करंट, कर्मी ने ठेकेदार पर लगाए आरोप, देखें Live

जालंधरः रेलवे स्टेशन पर कर्मी को लगा करंट, कर्मी ने ठेकेदार पर लगाए आरोप, देखें Live

जालंधर, ENS: कैंट रेलवे स्टेशन पर काम करने वाले मजदूर को करंट लग गया। इस हादसे में पीड़ित का कहना है कि अब डॉक्टर उसे दोनों हाथ काटने का कह रहे है। वहीं ठेकेदार द्वारा ईलाज ना करवाने के कर्मी ने आरोप लगाए है। पीड़ित का आरोप है कि ठेकेदार ने उसके ईलाज के ठेकेदार ने कहा था कि कंपनी उसके ईलाजा का सारा खर्चा उठाएंगी। पीड़ित ने कहा कि उसका अब तक ईलाज के लिए 2 लाख रुपए लग चुका है। वहीं ठेकेदार द्वारा अभी तक 49 हजार रुपए ही दिया गया है। जबकि बाकी के ईलाज का ना तो ठेकेदार द्वारा खर्चा दिया जा रहा है और ना ही ईलाज करवाया जा रहा है। 

पीड़ित के परिजनों का कहना है कि काम के दौरान वह 25 हजार हाईवोल्टेज तारों की चपेट में आ गया था। इस दौरान पीड़ित के हाथ-पांव में बड़े-बड़े जख्म हो गए। जिसके कारण उसकी हालत गंभीर बताई जा रही है। पीड़ित के भाई ने बताया कि वह अब भी पीड़ित को एबुलेंस में लेकर आ गए। उन्होंने कहा कि डॉक्टर ने कहा कि पीड़ित के हाथ काटने पड़ेंगे।

इस दौरान ईलाज के लिए भारी खर्च आएगा। पीड़ित ने भाई ने कहा कि अब ना ठेकेदार ठीक से बात कर रहा है और ना ही कोई कंपनी वाला बात करने को तैयार है। पीड़ित के परिजनों ने आरोप लगाए है। इस दौरान व्यक्ति को अब तक दिहाड़ी भी नहीं दी गई। उन्होंने कहा कि उनके पास सारे बिल मौजूद है। पीड़ित के परिजनों ने कहा कि डॉक्टर ने कहा कि व्यक्ति के हाथ-पांव दोनों काटने पड़ेंगे। ऐसे में आज जालंधर कैंट पीड़ित के परिजन पहुंचे है और वह एबुलेंस लेकर कैंट स्टेशन पर काम करने वाले स्थान पर ले गए। इस दौरान उन्होंने प्रशासन के इंसाफ की गुहार लगाई है।

इस दौरान जब लाइव वीडियो में ठेकेदार मेहता से बात की गई तो ठेकेदार ने कहा कि कुछ पैसे दे दिए गए है, जबकि बाकी पैसों के बिल कंपनी को भेज दिए गए है। उन्होंने कहा कि सारा पैसा कंपनी लगा रही थी। जिसके बाद परिजन खुद पीड़ित की हालत देखकर घबरा उसे दिल्ली ले गए। उन्होंने कहा कि कंपनी की ओर से एबुलेंस भी मुहैय्या भी करवाई की गई। उन्होंने कहा कि पीड़ित के परिवार वालों से बात की गई तो उन्होंने 15 हजार रुपए महीना देने की बात की।

इस दौरान पीड़ित ने कहा कि उन्होंने 15 हजार रुपए महीना उसका खर्चा और बाकी उसके ईलाज के अलग से कहे थे। पीड़ित के परिजन ने कहा कि 5 हजार से अधिक तो पट्टी का लग जाता है। उसके बाद दवाईंयों का खर्चा अलग से हो रहा है। मेहता ने कहा कि उन्होंने कंपनी को बिल भेज दिए है और सारा खर्चा उठानें का कंपनी की ओर से ठेकेदार को कहा गया है।