Aditya L1 Mission: आज सूर्य की ओर बढ़ाएगा कदम
50 दिन में भारत की अंतरिक्ष में दूसरी उड़ान
नई दिल्लीः चंद्रयान-3 अभियान को मिली कामयाबी के बाद अब भारत सूरज की ओर कदम बढ़ाएगा। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) आज अपना पहला सोलर मिशन शुरू कर रहा है। श्रीहरिकोटा के लॉन्चिंग पैड से आज 11 बजकर 50 मिनट पर आदित्य एल-1 अंतरिक्ष में उड़ान भरेगा। यह सूर्य पर नहीं जा रहा है बल्कि उसके L1 पॉइंट पर जा रहा है, ये वहां से सूर्य की किरणों का अध्ययन करेगा। इस दौरान ये लगातार 4 महीने तक उड़ान भरेगा और 15 लाख किलोमीटर की दूरी तय करेगा। लॉन्चिंग के 125 दिन बाद ये अपने टारगेट पर पहुंच पाएगा।
उल्टी गिनती जारी
कल से ही इसकी उल्टी गिनती जारी है। इस लॉन्चिंग के साथ भारत की गिनती उन देशों में होने लगेगी जिन्होंने चांद और सूरज की तरफ कदम बढ़ाए हैं। इस मिशन को इसरो के सबसे भरोसेमंद PSLV रॉकेट के जरिए लॉन्च किया जाएगा। आदित्य L-1 मिशन की लॉन्चिंग से पहले ISRO चीफ एस सोमनाथ के साथ वैज्ञानिकों की पूरी टीम तिरुपति पहुंची थी। ISRO के वैज्ञानिकों ने तिरूपति बालाजी मंदिर में मिशन की सफलता के लिए प्रार्थना की।
सूर्य मिशन का उद्देश्य
सौर आंधियों और चुंबकीय क्षेत्र का अध्ययन करने के लिए भारत इस मिशन को लांच कर रहा है। सौरमंडल का ऊपरी वातावरण कैसा रहता है और सूर्य की बाहरी परत की स्टडी की जाएगी। फोटोस्फेयर और क्रोमोस्फेयर की जानकारी जुटाने के साथ स्पेस के मौसम के विषय में भी जानकारी इकट्ठा की जाएगी।
मिशन से क्या फायदा
भारत का यह सूर्य मिशन काफी महत्वपूर्ण साबित होने वाला है क्योंकि इससे सौरमंडल के बारे में कई बातों का पता लगाया जा सकेगा। गैलेक्सी में जो तारे हैं उनके बारे में कई बातें पता लगेगी इसके अलावा स्पेसक्राफ्ट और अनजान खतरों से बचने के रास्ते भी मिलेंगे। सौर ऊर्जा कितनी ताकतवर है इसका पता लगाया जा सकेगा और खतरा आने से पहले ही वार्निंग मिल जाएगी। सूर्य की किरणों से ओजोन परत पर पड़ने वाले असर और पराबैगनी किरणों के बारे में जानकारी जुटाई जाएगी।