पंजाबः धरने पर बैठे JCT मिल मजदूरों पर पुलिस का लाठीचार्ज, देखें वीडियो

पंजाबः धरने पर बैठे JCT मिल मजदूरों पर पुलिस का लाठीचार्ज, देखें वीडियो

फगवाड़ाः कपूरथला के जिला फगवाड़ा से बड़ी खबर सामने आई है। जहां हड़ताल पर बैठे जेसीटी मिल मजदूरों पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज किया गया। मिली जानकारी के मुताबिक मजदूरों को हड़ताल पर बैठे एक करीब महीना हो गया है, लेकिन अभी तक मिल मालिकों से कोई मुआवजा नहीं लिया गया है। कर्मियों का कहना है कि 5 महीने का वेतन और 8 महीने का ओवरटाइम नहीं मिलने के कारण वे पिछले एक महीने से धरने पर बैठे हैं, वहीं दूसरी ओर न तो सरकार और न ही किसी प्रशासनिक अधिकारी ने उनका हाल पूछा है।

मजदूरों का कहना है कि कोर्ट के आदेश के मुताबिक सभी मजदूर शांतिपूर्वक वहां से उठ गए और कोर्ट के आदेश का पालन करते हुए मिल से 300 मीटर की दूरी पर उन्होंने धरना लगा दिया, लेकिन 300 मीटर की दूरी पर बैठे रहने के बावजूद पुलिस प्रशासन द्वारा उन्हें जबरन रोका गया। दरअसल, जेसीटी शुगर मिल पर धरना प्रदर्शन कर रहे कर्मचारियों का साथ देने किसान जत्थेबंदी आ पहुंची। पुलिस हालत बिगड़ते देख माननीय अदालत के आदेश की पालना करते हुए कर्मचारियों को कुछ देर 300 मीटर दूरी धरना प्रदर्शन करने दिया।

वहीं सिविल और पुलिस प्रशासन ने आश्वासन दिया कि जायज मांगों को लेकर सरकार से बातचीत करवाने पर कर्मचारियों ने धरना उठा लिया। लेकिन शुगर मिल के कर्मचारी ने फगवाड़ा पुलिस के डीएसपी पर आरोप लगाए कि जब वह 300 मीटर पर धरना प्रदर्शन के लिए जाने लगे तो डीएसपी ने बैरिगेटिंग कर उन्हें रोकने का प्रयास किया और जब बैरिगेटिंग पर धक्का-मुक्की और हाथापाई शुरू कर दी। यहीं नहीं पुलिस ने उसे पर लाठीचार्ज किया, जिसमें उनका नुकसान हुआ है। उन्होंने सिविल और पुलिस प्रशासन के तमाम अधिकारियों को शिकायत दी है कि जिन-जिन ने उन पर लाठीचार्ज किया और उनको चोटिल किया है उन पुलिस वालों पर कानूनी कार्रवाई की जाए।

किसान जत्थेबंदी के किसान नेता ने कहा की कर्मचारी शांत तरीके से अपना प्रदर्शन कर रहे थे और माननीय अदालत के देशों पर 300 मीटर दूरी पर जाकर प्रदर्शन करने जा रहे थे तो पुलिस ने उन पर लाठी चार्ज कर दिया जिसमें कईयों को चोंट लगी है। उन्होंने कहा की जिन्होंने लाठी चार्ज किया है उन पर बनती कानूनी कार्रवाई की जाए। इस घटना ने पंजाब सरकार और फगवाड़ा पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े कर दिए हैं। बता दें कि पिछले एक महीने से कर्मचारी अपनी 5 महीने की सैलरी और ओवरटाइम पाने के लिए प्रदर्शन कर रहे थे। उनका कहना है कि त्योहारों के दौरान उनके बच्चे भूखे-प्यासे घर पर बैठे रहते हैं, लेकिन इसकी चिंता न तो सरकार को है और न ही प्रशासन को।